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विरासत में मिलता है-
चूल्हा-चौका
बर्तन- साड़ियाँ
सोना-चाँदी
गले में झूलती 'रामनवमी',
कलाइयों पर कसे 'दस्तबंद',
और ढेर सी चूड़ियाँ।
पाँव की ऊंगलियों को
जकड़ते 'बिछुए',
बालों को लाल करता रंग
नाक छेदती 'नथनी',
संदूकों में बंद 'दस्सयारी'।
कानों में फुसफुसाती सीख
हर हाल में-
रहने की हिदायत,
नुकीले शब्द सहने की कला।
पर माँ ने-
ऐसी विरासत से
मुझे बेदख़ल कर दिया था....